विदेशी मुद्रा में किस प्रकार के प्रसार हैं?

प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष के प्रमुख प्रधान मंत्री जी हैं।

प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष का संचालन अवैतनिक आधार पर होता है। प्रधान मंत्री के एक संयुक्त सचिव इस कोष के सचिव के रूप में कार्य करते हैं। अवैतनिक आधार पर, निदेशक स्तर के एक अधिकारी उनकी सहायता करते हैं।

प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष से सहायता प्रधान मंत्री के विवेकानुसार तथा उनके निदेशानुसार प्रदान की जाती है।

पिछले 10 वर्षों के दौरान प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष में जमा धन का विवरण निम्नलिखित हैः-

पिछले 10 वर्षों के दौरान प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष में विदेशी मुद्रा में जमा अंशदान का विवरण निम्लिखित है :-

पिछले 10 वर्षों के दौरान प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष के अंतर्गत वितरित की गई राशि का ब्यौरा निम्नलिखित हैः-

प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष की लेखा परीक्षा सरकार से बाहर एक स्वतंत्र लेखा परीक्षक द्वारा की जाती है। वर्तमान में, सार्क एंड एसोसिएट्स, चार्टर्ड लेखाकार इसके लेखा परीक्षक हैं।

आयकर अधिनियम के अंतर्गत प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष की लेखा परीक्षा की कोई सांविधिक अवधि नहीं है। आमतौर पर जल्द से जल्द लेखा-परीक्षा पूरी कराई जाने की कोशिश की जाती है। वर्ष 2021-22 तक की लेखा परीक्षा हो चुकी है।

सामान्यतया, धन का वितरण तत्काल ही कर दिया जाता है अथवा विशिष्ट उद्देश्यों के लिए रखा जाता है। शेष धन को दीर्घकालिक उपलब्धता के लिए सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों तथा अन्य संस्थाओं में विभिन्न रूपों में रखा जाता है।

जी हां, धारा 10(23)(सी) के तहत प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष को आयकर से छूट प्राप्त है।

Yes, in computing the total income of an assessee, there shall be deducted, in accordance with and subject to provisions of Section 80(G) of the Income Tax Act, 1961, any sums paid by the assessee in the previous year as donation to the PMNRF. Deduction is available for those who opt for old tax slabs.

It may be noted that certificate of donation in Form No. 10BE is only applicable to the fund or institutions approved under sub-clause (iv) of clause (a) if sub-section (2) of section 80G. In respect of donations which fall in any other category (which, inter alia, includes the PMNRF), the deduction under section 80G of the Act shall be allowed to assessees based on the claim made by them in their return of income. Form No. 10BE is not required to be issued in case of PMNRF.

प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष में निम्न प्रकार से अंशदान किया जा सकता हैः-
(क) प्रधान मंत्री कार्यालय, साउथ ब्लॉक, नई दिल्ली को नकद भुगतान अथवा प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष के पक्ष में देय पोस्टल आर्डर, मनी आर्डर, चेक या डिमांड ड्राफ्ट तथा भीम एप के माध्यम से। (VPA : pmnrf@centralbank)

(ख) अंशदान किसी भी डाकखाने से प्रधान मंत्री कार्यालय, साउथ ब्लॉक, नई दिल्ली को निःशुल्क डाक/मनी आर्डर द्वारा भेजा जा सकता है।

(ग) संग्रहण बैंकों के पोर्टलों और प्रधान मंत्री कार्यालय के पोर्टल अर्थात pmindia.gov.in के जरिए भी ऑनलाइन अंशदान किया जा सकता है।

(घ) नकद भुगतान करके अथवा प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष के पक्ष में देय पोस्टल आर्डर, चेक या डिमांड ड्राफ्ट से किया जा सकता है जिन्हें प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष के 20 विदेशी मुद्रा में किस प्रकार के प्रसार हैं? निर्धारित संग्रहण बैंकों की किसी भी शाखा में जमा किया जा सकता है। इन संग्रहण बैंकों की नोडल शाखाओं के नाम और पते निम्नानुसार हैं:-

(ड.) कृपया ध्यान दें कि एमेक्स, डाय्नेर्स क्लब इंटरनेश्नल, मास्टर कार्ड, वीसा डेबिट / क्रेडिट कार्ड आदि से भुगतान करने पर मध्यवर्ती संस्थाओं द्वारा कोई अतिरिक्त प्रभार नहीं लगाया जाता !

भारत के विदेशी मुद्रा भंडार में कौन-कौन से देशों की करेंसी शामिल है?

Indias foreign exchange reserves- पहले के जमाने में अक्सर राजा-महाराजा अपने पास सोना भंडार रखते थे. उसी तरह से आज देशों के पास विदेशी मुद्रा भंडार होता है. आइए आपको इसके बारे में विस्तार से बताते हैं.

हम सभी ने लगभग वो फिल्में देखी होगी जिसमें राजा-महाराजा किसी इमरजेंसी से निपटने के लिए धन, सोना, चांदी, आदि को तहखानों या फिर किसी सीक्रेट रूम में रखते थे. ठीक उसी प्रकार से केंद्र सरकारें विदेशी मुद्रा भंडार रखती हैं. विदेशी मुद्रा भंडार का मतलब वह संपत्ति है जो किसी भी देश के पास विदेशी मुद्रा में उपलब्ध होती है. इसमें विदेशी मुद्रा संपत्ति (Foreign Currency Assets), गोल्ड रिजर्व, स्पेशल ड्राइंग राइट्स (SDR), अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ), आदि शामिल है. भारत में विदेशी मुद्रा भंडार की देखरेख रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया करता है. आरबीआई ऐसी प्रॉपर्टीज का एक बफर रखता है, विदेशी मुद्रा में किस प्रकार के प्रसार हैं? जिससे वह संकट के समय अर्थव्यवस्था को बचाने के लिए करता है. अब नाम में ही विदेशी करेंसी है तो जाहिर से बात है कि भंडार उसी की वैल्यू के हिसाब से होता होगा, लेकिन यहां सबसे बड़ा सवाल यही उठता है कि भारत किस-किस देश की करेंसी में संपत्ति होल्ड करता है?

विदेशी मुद्रा भंडार में फॉरेन करेंसी एसेट बहुत जरूरी चीज है. इसे करेंसी पोर्टफोलियो (Multi-Currency Portfolio) के रूप में तैयार किया जाता है, जिसमें प्रमुख करेंसी, जैसे US डॉलर, यूरो, पाउंड स्टर्लिंग, जापानी येन, आदि शामिल होती हैं और इसका मूल्य अमेरिकी डॉलर के रूप में होता है. भारत बेशक बाकी देशों के करेंसी में भी एसेट्स होल्ड करता है लेकिन देश का विदेशी मुद्रा भंडार मुख्य रूप से अमेरिकी सरकार के बांड और संस्थागत बांड के रूप में अमेरिकी डॉलर से बना है.

भारत के भंडार में ज्यादातर डॉलर और कुछ हद तक यूरो में विदेशी मुद्रा भंडार रखा जाता है. कुल मिलाकर विदेशी मुद्रा भंडार में केवल विदेशी बैंक नोट, विदेशी बैंक जमा, विदेशी ट्रेजरी बिल और छोटे और लॉन्ग टर्म गवर्नमेंट बॉन्ड होते है.

हालांकि, सोने के भंडार, एसडीआर, और अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के पास जमा राशि भी विदेशी मुद्रा भंडार का हिस्सा होता हैं.

क्यों अमेरिकी डॉलर में इसकी वैल्यू आंकी विदेशी मुद्रा में किस प्रकार के प्रसार हैं? जाती है?दरअसल, अमेरिकी डॉलर सबसे स्थिर ग्लोबल करेंसी है. अंतरराष्ट्रीय लेनदेन के लिए लगभग सभी देश अमेरिकी डॉलर को स्वीकार करते हैं. अंतरराष्ट्रीय व्यापार में डॉलर की स्थिरता के कारण, ज्यादातर देश डॉलर में विदेशी मुद्रा भंडार बनाए रखते हैं जिससे इसकी विनिमय दर (exchange rate) बढ़ जाती है. यहां वजह है कि ज्यादातर मूल्यांकन अमेरिकी डॉलर में किया जाता है.

डेली अपडेट्स

(a) विदेशी मुद्रा संपत्ति, विशेष आहरण अधिकार और विदेशों से ऋण
(b) विदेशी मुद्रा संपत्ति, भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा धारित स्वर्ण और विशेष आहरण अधिकार
(c) विदेशी मुद्रा संपत्ति, विश्व बैंक से ऋण और विशेष आहरण अधिकार
(d) विदेशी मुद्रा संपत्ति, भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा धारित स्वर्ण और विश्व बैंक से ऋण

उत्तर: (b)

व्याख्या:

विदेशी मुद्रा आरक्षित निधि एक केंद्रीय बैंक द्वारा विदेशी मुद्राओं में आरक्षित संपत्तियांँ हैं।

UPSC परीक्षा कम्प्रेहैन्सिव न्यूज़ एनालिसिस - 14 October, 2022 UPSC CNA in Hindi

निम्नलिखित में से किस राष्ट्रीय उद्यान का उल्लेख यहाँ किया जा रहा है?

(a) बलफकरम राष्ट्रीय उद्यान

(b) देहिंग पटकाई राष्ट्रीय उद्यान

(c) मौलिंग राष्ट्रीय उद्यान

(d) नमदाफा राष्ट्रीय उद्यान

उत्तर: d

व्याख्या:

  • नमदाफा राष्ट्रीय उद्यान वर्ष 1983 में अरुणाचल प्रदेश में स्थापित एक विशाल संरक्षित क्षेत्र है।
  • 1,000 से अधिक फूलों और लगभग 1,400 जीव प्रजातियों के साथ, यह पूर्वी हिमालय में एक जैव विविधता हॉटस्पॉट है।
  • यह पूर्वोत्तर भारत में अरुणाचल प्रदेश राज्य में चांगलांग जिले के भीतर भारत और म्यांमार के बीच अंतरराष्ट्रीय सीमा पर स्थित है।
  • यह दुनिया का एकमात्र उद्यान है जहां बड़ी बिल्ली की चार प्रजातियां हैं बाघ (पैंथेरा टाइग्रिस), तेंदुआ (पैंथेरा पार्डस), हिम तेंदुआ (पैंथेरा उनसिया) और धूमिल तेंदुआ (नियोफेलिस नेबुलोसा) पाई जाती हैं।
  • हालाँकि, राष्ट्रीय उद्यान में हिम तेंदुओं को अभी तक न तो देखा गया है और न ही दर्ज किया गया है और हाल के सर्वेक्षण के आधार पर वन्यजीव अधिकारियों को हिम तेंदुए की मौजूदगी की पुष्टि विदेशी मुद्रा में किस प्रकार के प्रसार हैं? का इंतजार है।
  • भारत में पाई जाने वाली एकमात्र ‘वानर’ प्रजाति, हूलॉक गिबन्स, इस राष्ट्रीय उद्यान में पाई जाती है।

प्रश्न 5. भारत के संदर्भ में, ‘अंतर्राष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (IAEA)’ के ‘अतिरिक्त नयाचार (एडिशनल प्रोटोकॉल)’ का अनुसमर्थन करने का निहितार्थ क्या है? (CSE-PYQ-2018)(स्तर – कठिन)

(a) असैनिक परमाणु रिएक्टर IAEA के रक्षोपायों के अधीन आ जाते हैं।

(b) सैनिक परमाणु अधिष्ठान IAEA के निरीक्षण के अधीन आ जाते हैं।

(c) देश के पास नाभिकीय पूर्तिकर्ता समूह (NSG) से यूरेनियम के क्रय का विशेषाधिकार हो जाएगा।

(d) देश स्वतः NSG का सदस्य बन जाता है।

उत्तर: a

व्याख्या:

  • पुराने आईएईए (International Atomic Energy Agency (IAEA)) सुरक्षा उपायों के तहत सभी एनपीटी हस्ताक्षरकर्ता अपने परमाणु स्थलों को निर्दिष्ट करेंगे और आईएईए निर्दिष्ट स्थलों का निरीक्षण करेगा।
  • इस प्रकार, आईएईए, पुराने सुरक्षा उपायों के तहत, केवल किसी देश द्वारा घोषित या निर्दिष्ट स्थलों पर ही अनधिकृत गतिविधियों के लिए निरीक्षण कर सकता था।
  • इस प्रकार इसने मूल रूप से राष्ट्रों के लिए गुप्त परमाणु कार्यक्रम चलाने का एक विकल्प खुला छोड़ दिया – जैसा कि इराक के मामले में हुआ था।
  • इस प्रकार, वर्ष 1993 में, IAEA ने मौजूदा सुरक्षा व्यवस्था को कड़ा करने के लिए अतिरिक्त प्रोटोकॉल (AP) तैयार किए।
  • हालांकि, भारत विशिष्ट अतिरिक्त प्रोटोकॉल आईएईए को उन गतिविधियों में बाधा डालने या हस्तक्षेप करने का अधिकार नहीं देते हैं जो भारत के सुरक्षा समझौतों के दायरे से बाहर हैं, इस प्रकार भारत IAEA समझौते के बाहर एक सैन्य परमाणु कार्यक्रम के संचालन का अधिकार सुरक्षित रखता है।

UPSC मुख्य परीक्षा के लिए अभ्यास प्रश्न :

प्रश्न 1. “पेलेट संयंत्र और टॉरफेक्शन दिल्ली के प्रदूषण का जवाब हो सकता है”। व्याख्या कीजिए। (150 शब्द, 10 अंक) (जीएस-3; पर्यावरण)

प्रश्न 2.”मनरेगा योजना महामारी के दौरान और बाद विफलता और एक सफलता दोनों थी”। समालोचनात्मक विश्लेषण कीजिए। (250 शब्द, 15 अंक) (जीएस-2; शासन)

Forex Reserves India 2021: विदेशी मुद्रा भंडार पर आई पॉजिटिव खबर, खजाना और बढ़ा, जानें कितना है सोने का भंडार

Forex Reserves India: देश का विदेशी मुद्रा भंडार इससे पहले 29 जनवरी 2021 को 590.185 अरब डॉलर की सर्वकालिक ऊंचाई पर पहुंच गया था.

3 अप्रैल 2021 को खत्म सप्ताह के दौरान विदेशी मुद्रा भंडार में होने वाली बढ़ोतरी मुख्य तौर पर विदेशी मुद्रा परिसंपत्तियां बढ़ने से हुई है.

Forex Reserves India: देश का विदेशी मुद्रा भंडार गत 23 अप्रैल को खत्म सप्ताह में 1.701 अरब डॉलर बढ़कर 584.107 अरब डॉलर पर पहुंच गया. भारतीय रिजर्व बैंक के शुक्रवार को जारी आंकड़े ये बताते हैं. पीटीआई की खबर के मुताबिक, इससे पिछले सप्ताह में विदेशी मुद्रा भंडार 1.193 अरब डॉलर बढ़कर 582.406 अरब डॉलर पर पहुंच गया था. देश का विदेशी मुद्रा भंडार इससे पहले 29 जनवरी 2021 को 590.185 अरब डॉलर की सर्वकालिक ऊंचाई पर पहुंच गया था.

बढ़ोतरी की वजह (Reason for increase in foreign currency assets)
खबर के मुताबिक, इसमें कहा गया है कि 23 अप्रैल 2021 को खत्म सप्ताह के दौरान विदेशी मुद्रा भंडार में होने वाली बढ़ोतरी मुख्य तौर पर विदेशी मुद्रा परिसंपत्तियां बढ़ने से हुई है. यह विदेशी मुद्रा भंडार का एक प्रमुख हिस्सा है. भारतीय रिजर्व बैंक के साप्ताहिक आंकड़ों के मुताबिक विदेशी मुद्रा परिसंपत्तियां सप्ताह के दौरान 1.062 अरब डॉलर बढ़कर 541.647 अरब डॉलर पर पहुंच गईं.

सोने का आरक्षित भंडार (Gold Reserve)
विदेशी मुद्रा परिसंपत्तियां डॉलर में व्यक्त की जाती हैं. इसमें डॉलर के अलावा यूरो, पाउंड और येन में होने वाली घटबढ़ भी शामिल है. यह सकल विदेशी मुद्रा भंडार का हिस्सा है. सोने का आरक्षित भंडार इस दौरान 61.5 करोड़ डॉलर बढ़कर 35.969 अरब डॉलर पर पहुंच गया. आंकड़ों से यह जानकारी मिली है.

इसी प्रकार अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) में विशेष निकासी अधिकार (एसडीआर) 70 लाख डालर बढ़कर 1.505 अरब डॉलर पर पहुंच गया. वहीं, आईएमएफ के पास देश के आरक्षित भंडार की स्थिति 1.8 करोड़ डॉलर बढ़कर 4.987 अरब डॉलर पर पहुंच गई.

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