इनकी मेंबरशिप लेने के लिए आपकी उम्र 21 वर्ष से ऊपर तक होनी चाहिए तथा आपके पास किसी स्टॉक एक्सचेंज के साथ काम करने का 2 साल का एक्सपीरियंस होना चाहिए।
शेयर बाजार में निवेश करना चाहते हैं, तो जरूरी है Demat Account होना, जानें कैसे खुलता है, क्या होता है चार्ज
Demat Account : शेयर बाजार में ट्रेडिंग करने के लिए जरूरी है डीमैट अकाउंट. (प्रतीकात्मक तस्वीर)
शेयर बाजार में ट्रेडिंग (Share Market Trading) कर पैसा बहुत से लोग बनाना चाहते हैं लेकिन शेयर्स खरीदने और बेचने के लिए जिस डीमैट अकाउंट की जरूरत होती है, उसके बारे में कम ही जानकारी होती है. डीमैट अकाउंट कैसे काम करता है, इस खाते को खोलने के लिए जरूरी कागजात कौन से होते हैं और कितनी फीस डीमैट खाते को खोलने के लिए खर्च करनी पड़ती है. ऐसे बहुत सारे सवालों के जवाब हम आपको इस खबर की मदद से दे रहे हैं क्योंकि शेयर ट्रेडिंग के लिए डीमैट अकाउंट होना जरूरी है, इसके बिना ट्रेडिंग नहीं की जा सकती है.
तो आइए जानते हैं डीमैट खाते से जुड़ी हर जरूरी जानकारी.
जिस तरह से बैंक ट्रेडिंग ब्रोकर क्या हैं अकाउंट होता है. इसी तरह से डीमैट अकाउंट भी बैंक खाते की तरह काम करता है. शेयर बाजार को रेगुलेट करने वाली संस्था SEBI के साफ निर्देश हैं कि बिना डीमैट खाते के शेयरों को किसी भी ट्रेडिंग ब्रोकर क्या हैं अन्य तरीके से खरीदा और बेचा नहीं जा सकता है.
डीमैट खाते की सबसे अच्छी बात होती है ये जीरो अकाउंट बैलेंस के साथ भी खोला जा सकता है. इसमें मिनिमम बैलेंस रखने की जरूरत नहीं होती है. शेयर बाजार में निवेश के लिए निवेशक के पास बैंक अकाउंट, ट्रेडिंग अकाउंट और डीमैट खाता होने चाहिए क्योंकि डीमैट खाते में आप शेयरों को डिजिटल रूप से अपने पास रख सकते है. तो वहीं ट्रेडिंग अकाउंट से मदद से शेयर, म्युचुअल फंड और गोल्ड में निवेश किया जा सकता है.
कैसे खोलें डीमैट खाता
- शेयरों में ऑनलाइन निवेश करने के लिए सबसे ज्यादा जरूरी डीमैट खाता होता है. आप इसे HDFC सिक्योरिटीज, ICICI डायरेक्ट, Axis डायरेक्ट जैसे किसी भी ब्रोकरेज के पास खुलवा सकते हैं.
- ब्रोकरेज फर्म का फैसला लेने के बाद आप उसकी वेबसाइट पर जाकर डीमैट अकाउंट ओपन करने का फॉर्म सावधानी से भरने के बाद उसकी KYC प्रोसेस को पूरा करें.
- KYC के लिए फोटो आईडी प्रूफ, एड्रेस प्रूफ के लिए डॉक्यूमेंट की जरूरत पड़ेगी. जब ये प्रोसेस पूरी हो जाएगा तो उसके बाद इन-पर्सन वेरिफिकेशन होगा. संभव है जिस फर्म से आप डीमैट अकाउंट खुलवा रहे हों, वो अपने सर्विस प्रोवाइडर के दफ्तर आपको बुलवाएं.
- इस प्रोसेस को पूरा होने के बाद आप ब्रोकरेज फर्म के साथ टर्म ऑफ एग्रीमेंट साइन करते है. ऐसा करने के बाद आपका डीमैट अकाउंट खुल जाता है.
- फिर आपको डीमैट नंबर और एक क्लाइंट आईडी दी जाएगी.
Stock broker क्या है
स्टॉक ब्रोकर वह है जो investment karne wala और शेयर मार्केट दोनों के बीच काम करता है बिना stock broker के कोई भी इन्वेस्टर या निवेशक अपना ट्रेड शेयर मार्केट में नहीं डाल सकता है
इसलिए दोस्तों यदि आप स्टॉक मार्केट में इन्वेस्ट करना चाहते हैं तो आपको डिमैट अकाउंट और एक ट्रेडिंग अकाउंट खोलना होता है और यह दोनों अकाउंट स्टॉक ब्रोकर द्वारा ही खोला जाता है
किसी भी इन्वेस्टर की buy या sell का आर्डर ब्रोकर ही स्टॉक एक्सचेंज के पास पहुंचाया जाता है
देखा जाए तो शेयर बाजार में दो तरह के स्टॉक ब्रोकर काम करते हैं पहले ब्रोकर को हम full service stock broker कहते हैं दूसरे ब्रोकर को हम discount stock broker तो आइए हम इन दोनों प्रकार के बारे में डिटेल से जानकारी देते हैं कि इनका क्या-क्या काम होता है।
full service stock broker क्या है?
यह स्टॉक ब्रोकर को सबसे बढ़िया ब्रोकर माना जाता है क्योंकि यह ब्रोकर अपने क्लाइंट को तरह-तरह की सुविधाएं प्रदान करते हैं जैसे शेयर कब खरीदे , शेयर कब बेचें मोबाइल , फोन पर ट्रेडिंग करने की सुविधा , आईपीओ में इन्वेस्ट की सुविधा इसके अलावा वह फूल टाइम कस्टमर सर्विस की सुविधा भी प्रदान करते हैं। इसके मद्देनजर देखा जाए तो इन स्टॉक ब्रोकर ट्रेडिंग ब्रोकर क्या हैं की फीस भी ज्यादा होती है क्योंकि यह फुल टाइम सर्विस प्रदान करते हैं।
आइए हम आपको कुछ पॉपुलर ट्रेडिंग ब्रोकर क्या हैं फुल सर्विस स्टॉक ब्रोकर के बारे में बताते हैं
discount stock broker क्या है?
यह स्टॉक ब्रोकर अपने क्लाइंट से कम फीस में स्टॉक मार्केट में इन्वेस्ट करने की सुविधा प्रदान कर देते हैं क्योंकि यह अपने क्लाइंट को स्टॉक एडवाइजरी और रिसर्च फैसिलिटी इत्यादि जैसी सुविधाएं प्रदान नहीं करते फुल स्टॉक ब्रोकर की तरह इनका ज्यादा से ज्यादा काम ऑनलाइन ही होता है
आइए हम कुछ पॉपुलर डिस्काउंट स्टॉक ब्रोकर के बारे में आपको बताते हैं
- ZERODHA
- MASTER CAPITAL SERVICES LTD
- SOUTH ASIAN STOCK LTD
Stock broker कैसे बने?
दोस्तों यदि आप भी एक स्टॉक ब्रोकर बनना चाहते हैं तो आपको फाइनेंशियल मार्केट का बहुत ही अच्छा ज्ञान होना आवश्यक है इसके साथ-साथ आपके पास स्टॉक ब्रोकर बनने के लिए तरह-तरह के परमिशन लेने पड़ते हैं तब जाकर आप एक स्टॉक ब्रोकर के रूप में लोगो को ट्रेडिंग करने की सुविधा प्रदान कर सकते हैं तथा अपनी कमाई कर सकते हैं।
वैसे देखा जाये तो स्टॉक ब्रोकर बनना आसान काम नहीं है इसके लिए आपको नॉलेज के साथ-साथ आपको तरह-तरह की चीजें होना आवश्यक है।
आईये हम आपको डिटेल में जानकारी देते है कि आप एक स्टॉक ब्रोकर किस प्रकार बन सकते हैं।
#1. स्टॉक ब्रोकर बनने वाले इच्छुक व्यक्ति को सबसे पहले Capital Market , Stock broking और निवेश संबंधित और भी अन्य सुविधाओं के बारे में कोर्स करना पड़ता है। भारत के कुछ प्रशिक्षण संस्थान में यह कोर्स कराए जाते हैं।
#2. जब यह कोर्स पूरा कर लेते हैं तो आपको किसी स्टॉक ब्रोकिंग कंपनी के साथ जुड़कर कम से कम 2 साल तक इस मार्केट का अनुभव लेना पड़ता है।
इंट्राडे ट्रेडिंग (Intraday Trading)
इंट्राडे ट्रेडिंग को हम डे ट्रेडिंग भी कहते हैं। इसका मतलब यह है कि ट्रेडर एक ही दिन में शेयर खरीद लेता
है और उसी दिन में अपने शेयर को फायदे या नुकसान में बेच देता है। आसान शब्दों में कहें तो एक ट्रेडर 1 दिन में समान खरीदता है और उसी दिन में अपना सामान बेच देता है।
इसे कहते हैं इंट्राडे ट्रेडिंग। इंट्राडे ट्रेडिंग का मकसद अचानक आई उछाल या गिरावट का लाभ उठाना होता है जिससे ट्रेडर समय रहते ही मुनाफा कमा सके।
इंट्राडे ट्रेडिंग में ट्रेडर हर बार लाभ ही कमाए ऐसा ट्रेडिंग ब्रोकर क्या हैं संभव नहीं है ट्रेडर को इसमें नुकसान भी हो सकता है।
ट्रेडिंग में सबसे मुश्किल इंट्राडे ट्रेडिंग होती है इसलिए ट्रेडिंग ब्रोकर क्या हैं ट्रेडिंग ब्रोकर क्या हैं इसको अच्छी तरह स्टॉक मार्केट सीखने के बाद ही करना शुरू करना चाहिए।
स्विंग ट्रेडिंग (Swing Trading)
स्विंग ट्रेडिंग में अक्सर ट्रेडर शेयर को 1 हफ्ते से लेकर 4 हफ्तों तक अपने पास रखता है और फिर इन ट्रेडिंग ब्रोकर क्या हैं शेयर को सेल कर देता है। स्विंग ट्रेडिंग का मुख्य लक्ष्य कुछ सप्ताह में शेयर के दाम में आने वाले Swing का लाभ उठाकर जल्द से जल्द लाभ कमाना होता है। इसी को ही स्विंग ट्रेडिंग कहते ट्रेडिंग ब्रोकर क्या हैं ट्रेडिंग ब्रोकर क्या हैं हैं। इस बात का ध्यान रहे कि इसमें जोखिम भी होता है
पोजीशन ट्रेडिंग से तात्पर्य है कि इसमें ट्रेडर शेयर खरीदता है और इन शेयरों को लंबे समय के लिए अपने पास
रखता है। ऐसा करने के लिए हर एक ट्रेडर को शेयर अपने पास रखने के लिए शेयर की डिलीवरी अपने डीमैट अकाउंट में लेनी पड़ती है।
ट्रेडर ने जितने शेयर जिस दाम में खरीदे हैं इन शेयरों का मूल्य ब्रोकर को देना पड़ता है ऐसा करने से
उसको डीमैट अकाउंट में सभी शेयर मिल जाते हैं। इसके बाद वह कभी भी अपने शेयर को बेचकर पैसे जुटा
सकता है।
ट्रेडिंग अकाउंट कैसे खोलते हैं?
ट्रेडिंग अकाउंट खुलवाने के लिए सबसे पहले हमें स्टॉक ब्रोकर के पास जाना पड़ेगा। स्टॉक ब्रोकर हमारा ट्रेडिंग अकाउंट आसानी से खोल सकता है। आज के समय में ट्रेडिंग अकाउंट कर बैठे ऑनलाइन खोला जा सकता है।
नीचे हमने मशहूर स्टॉक ब्रोकर के लिंक दिए हैं जिन पर क्लिक करके आप अपना डिमैट अकाउंट घर से ही 15 मिनट में खोल सकते हैं।
भारत के मशहूर स्टॉक ब्रोकर:
फिर इसके बाद शेयर को बेचने और खरीदने के लिए ट्रेडिंग अकाउंट में पैसे जमा करवाने जरूरी है जिसके लिए हमें ट्रेडिंग अकाउंट के साथ अपना एक बैंक अकाउंट भी लिंक करवाना जरूरी है। क्योंकि अगर हम कभी पैसों की जरूरत हो तो हम ट्रेडिंग अकाउंट में से बैंक अकाउंट में पैसा जमा करवा सकें।
यह जरूरी नहीं है कि हम अपना कोई नया बैंक अकाउंट ही खुलवाएं बैंक में अगर हमारे पास अपना कोई पुराना खाता भी है तो हम उसको भी लिंक करवा सकते हैं। इससे हमारे शेयर का जो Dividend होगा उसके हकदार हम होंगे और उसकी राशि हमारे इसी बैंक अकाउंट में जाएगी।
स्टॉक ब्रोकर क्या होता है?
ट्रेडर या इन्वेस्टर के साथ स्टॉक एक्सचेंज को जोड़ने का काम स्टॉक ब्रोकर करता है। स्टॉक ब्रोकर हमारे स्टॉक
एक्सचेंज के बीच एक कनेक्शन का काम करता है।
Trading अकाउंट खोलने के लिए जो जरूरी डॉक्यूमेंट चाहिए होते हैं वह नीचे लिखे हैं:
घर बैठे फ्री ऑनलाइन ट्रेडिंग टूर्नामेंट अब है मुमकिन! जानें कैसे?
- 16 मार्च 2021,
- (अपडेटेड 17 मार्च 2021, 3:07 PM IST)
लाइफ में अच्छी नौकरी और बैंक बैलेंस हर कोई चाहता है इसलिए अपनी लाइफ सिक्योर करने के लिए लोग सेविंग्स भी करते हैं. बैंक बाजार एस्पिरेशन इंडेक्स 2019 के मुताबिक 24 से 27 साल के बीच के ज्यादातर फीसदी नौजवान अपनी इनकम का 40 फीसदी बचा लेते हैं. लेकिन क्या बचत करना ही काफी है? हम में से कई लोग इस बात को नहीं समझ पाते कि सिर्फ बचत करना ही काफी नहीं है. बल्कि बचत को सही तरह से निवेश करना भी जरूरी है.
निवेश करना क्यों है जरुरी?
बचत की रकम को बढ़ाने के लिए निवेश करना जरूरी है. फंड ट्रेडिंग ब्रोकर क्या हैं का अपनी सूझबूझ से सही जगह निवेश करना कई बार फायदेमंद भी हो सकता है, लेकिन ये फायदे बाज़ार जोखिमों के आधीन होते है. साथ ही फिजूल खर्च से बचने के लिए अपनी सूझबूझ से सही ट्रेडिंग ब्रोकर क्या हैं जगह निवेश युवाओं के लिए एक बेहतर विकल्प है जो एडिशनल इनकम का नया जरिया बन चुका है.
स्टॉक मार्केट में ट्रेडिंग करते समय इन कुछ बातों का ज़रूर रखें ध्यान
स्टॉक मार्केट में निवेश से मिलनेवाले ऊंचे रिटर्न्स की वजह से लोग हमेशा से ही स्टॉक मार्केट की ओर आकर्षित होते हैं, लेकिन इक्विटीज़ में पैस बनाना कभी-भी आसान नहीं होता. इसके लिए रिसर्च के साथ-साथ मार्केट की समझ होना भी ज़रूरी है, जिसके लिए बहुत धीरज और अनुशासन की ज़रूरत होती है.
नीचे हम कुछ ऐसे महत्वपूर्ण बिंदुओं के बारे में बता रहे हैं, जिनके बारे में ट्रेडिंग करने से पहले आपको ज़रूर ध्यान देना चाहिए:
1. ट्रेडिंग कॉस्ट
ट्रेडिंग कॉस्ट में ब्रोकरेज, टैक्स और मार्जिन फ़ंड कॉस्ट तीनों ही शामिल होते हैं. इन तीनों में से ब्रोकरेज का हिस्सा बड़ा होता है. यदि ब्रोकरेज की राशि में बचत की जा सके तो ट्रेडिंग कॉस्ट कम हो जाती है और लाभ बढ़ जाता है.
मंथली अनलिमिटेड ट्रेडिंग प्लान्स में ग्राहकों की ब्रोकरेज पर सबसे ज़्यादा बचत होती है. इस प्लान में ग्राहकों को एक सेग्मेंट के लिए अनलिमिटेड संख्या में ट्रेड्स के लिए एक निश्चित मासिक शुल्क देना होता है.
एक इन्ट्राडे ट्रेडर एक दिन में औसतन 20 ट्रेड्स करता है और 15 रु प्रति ट्रेड ब्रोकरेज के हिसाब से एक महीने में 6000 रुपए के ब्रोकरेज का भुगतान करता है. वहीं अनलिमिटेड ट्रेडिंग प्लान्स लगभग 899 रुपए प्रति माह पर ही मिल जाते हैं, जिससे आपकी बड़ी बचत होती है.
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